ज्योतिष क्या है हिंदी में-Astrology in Hindi

ज्योतिष क्या है हिंदी में-Astrology in Hindi

ज्योतिष क्या है हिंदी में-Astrology in Hindi

ज्योतिष एक प्राचीन विज्ञान है, जिसका उद्भव भारत में हुआ माना जाता है। भारतीय ज्योतिष शास्त्र की जड़ें लगभग 8000 वर्षों पुरानी हैं। इस क्षेत्र में कई प्रमुख ज्योतिर्विदों ने महत्वपूर्ण ग्रंथों की रचना की है, जिनमें पाराशर मुनि द्वारा लिखित 'वृहद पाराशर' और 'होरा शास्त्र', वराह मिहिर की 'वृहद संहिता', 'वृहत्जातक' और 'लघुजातक', भास्कराचार्य का 'सिद्धांत शिरोमणि', तथा श्रीधर द्वारा रचित 'जातक तिलक' शामिल हैं।

ज्योतिष शास्त्र का मुख्य उद्देश्य सूर्य और अन्य ग्रहों के प्रभावों को समझना है। इसमें ग्रहों, नक्षत्रों के स्वरूप, उनके संचार और परिभ्रमण काल का अध्ययन किया जाता है। इसके अलावा, ग्रहण और अन्य खगोलीय घटनाओं का विश्लेषण भी किया जाता है, जिससे शुभ और अशुभ फलों का निर्धारण किया जा सके। यह शास्त्र न केवल खगोलीय घटनाओं का निरूपण करता है, बल्कि मानव जीवन पर उनके प्रभावों का भी अध्ययन करता है।

ग्रहों और नक्षत्रों की गणना और निरूपण मानव जीवन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। यह न केवल व्यक्तित्व की परीक्षा का एक प्रभावी माध्यम है, बल्कि भविष्य में घटित होने वाली घटनाओं की जानकारी भी प्रदान करता है। इस प्रकार, ज्योतिष शास्त्र एक गहन और व्यापक अध्ययन का क्षेत्र है, जो मानव जीवन के विभिन्न पहलुओं को समझने में सहायक होता है।

भारतीय ज्योतिष

भारतीय ज्योतिष की नींव मुख्यतः नौ ग्रहों पर आधारित है, जिनमें से सात ग्रह प्रमुख माने जाते हैं, जबकि दो ग्रहों को छाया ग्रह के रूप में वर्गीकृत किया गया है। सूर्य को राजा, चंद्रमा को मंत्री, बुध को मुंशी, बृहस्पति को गुरु, शुक्र को पुरोहित, शनि को राजपुत्र और राहु तथा केतु को छाया ग्रह के रूप में देखा जाता है। ज्योतिष शास्त्र में सूर्य को ग्रहों का सर्वोच्च माना जाता है, और इसी के आधार पर समय की गणना की जाती है।

ग्रहों की किरणें और नक्षत्रों का प्रभाव पृथ्वी पर निवास करने वाले सभी जीवों और मनुष्यों पर गहरा असर डालता है। विभिन्न स्थानों पर ग्रहों की रोशनी का कोण भिन्न होने के कारण प्रकाश की तीव्रता में भिन्नता उत्पन्न होती है। समय के साथ-साथ इस प्रभाव में भी परिवर्तन होता है, जिससे विभिन्न स्थानों पर जन्मे व्यक्तियों के स्वभाव और आकार में भिन्नता देखी जा सकती है।

किसी विशेष स्थान पर जन्म लेने वाला व्यक्ति उस स्थान पर ग्रहों की रश्मियों के प्रभाव के कारण अन्य स्थानों पर उसी समय जन्मे व्यक्तियों की तुलना में अलग स्वभाव और विशेषताओं का धारण करता है। इस प्रकार, ज्योतिष शास्त्र न केवल समय की गणना का एक माध्यम है, बल्कि यह मानव जीवन के विभिन्न पहलुओं को समझने में भी सहायक होता है।

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lakshmi narayan

Lakshmi Narayan is a famous astrologer of Durg/Bhilai, he is the perfective of Shani Dev and solves the problems of the people with the power of his knowledge and sadhana. Astrology is a spiritual practice which is a science related to God and spirituality, astrology is incomplete without spiritual practice. Lakshmi Narayan solves the problems of astrology only based on 'Sadhana'.

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