प्रथम भाव में धनु राशि: Sagittarius in the First House in Hindi

प्रथम भाव में धनु राशि: Sagittarius in the First House in Hindi

प्रथम भाव में धनु राशि: Sagittarius in the First House in Hindi

प्रथम भाव में धनु राशि होने से यह "धनु लग्न" की कुंडली बनती है। धनु लग्न में जन्मे व्यक्तियों का शारीरिक गठन सामान्यतः ऊँचा और सुडौल होता है। इनके चेहरे की आकृति ऐसी होती है कि मानो किसी कुशल कलाकार ने इसे बखूबी गढ़ा हो। इनकी नाक का अग्रभाग नुकीला और घुमावदार होता है, जबकि गर्दन लम्बी होती है। इस प्रकार, इनका समग्र रूप सुदर्शन और आकर्षक माना जाता है।

धनु 
लग्न के जातक अक्सर दार्शनिक प्रवृत्तियों के होते हैं। इनमें आस्तिकता की भावना भी प्रबल होती है, जिसके कारण ये पुरानी परंपराओं और रूढ़ियों में बंधे रहना पसंद करते हैं। ये स्वाभाविक रूप से दूसरों पर विश्वास कर लेते हैं, लेकिन उनकी इस सरलता का कुछ लोग अनुचित लाभ उठाते हैं, जिससे उन्हें धोखे का सामना करना पड़ता है। ऐसे जातक भौतिकता से दूर रहने का प्रयास करते हैं और स्वादिष्ट भोजन से भी यथासंभव बचने की कोशिश करते हैं।

जब ये भाषण देते हैं, तो अपनी पूरी ऊर्जा और उत्साह के साथ बोलते हैं। यदि ऐसे जातक सैनिक बनते हैं, तो उनकी नेतृत्व क्षमता और साहस उन्हें विशेष पहचान दिला सकती है। ऐसे व्यक्ति युद्ध के समय कभी भी पीछे नहीं हटते। इनकी विचारशीलता और दृढ़ता उन्हें किसी भी चुनौती का सामना करने में सक्षम बनाती है।

वे हमेशा दुखी लोगों की सहायता के लिए तत्पर रहते हैं। यदि कोई व्यक्ति किसी को अनावश्यक रूप से परेशान कर रहा हो, तो वे उस उत्पीड़क को दंडित करने में भी संकोच नहीं करते। सीधा खड़ा होना और चलना उनके आत्मविश्वास का प्रतीक है। यह दर्शाता है कि वे अपने सिद्धांतों के प्रति कितने दृढ़ हैं और किसी भी परिस्थिति में अपने मूल्यों से समझौता नहीं करते।

lakshmi narayan

Lakshmi Narayan is a famous astrologer of Durg/Bhilai, he is the perfective of Shani Dev and solves the problems of the people with the power of his knowledge and sadhana. Astrology is a spiritual practice which is a science related to God and spirituality, astrology is incomplete without spiritual practice. Lakshmi Narayan solves the problems of astrology only based on 'Sadhana'.

Post a Comment

Previous Post Next Post